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मराठा आरक्षण को लेकर महाराष्ट्र में ओबोसी से लेकर एससी,एसटी भी चिंतित, पक्ष -विपक्ष के आरोपो से गरमा रही राजनीती

मराठा आरक्षण को लेकर महाराष्ट्र में ओबोसी से लेकर एससी,एसटी भी चिंतित, पक्ष -विपक्ष के आरोपो से गरमा रही राजनीती

महाराष्ट्र में मराठा आरक्षण को लेकर राजनीती बढ़ती नज़र आ रही है. सरकार ने हाल ही में आदेश जारी कर मराठा समाज को ओबीसी में शामिल करने पर सहमति जताई है. अब मराठा आरक्षण को लेकर ओबीसी और एससी/एसटी समुदाय में डर है कि उनका आरक्षण कम न हो जाये. इस सन्दर्भ में शरद पवार ने कहा है कि सरकार विभिन्न समाज के लोगो में झगड़ा लगाकर उन्हें बांटना चाहती है.

मुंबई : महाराष्ट्र में मराठा आरक्षण को लेकर सियासी चढ़ता नज़र आ रहा है. ओबीसी (अन्य पिछड़ा वर्ग) के बाद अब एससी और एसटी समूहों ने भी मराठा आरक्षण को लेकर जारी की गई सरकार की अधिसूचना पर चिंता जताई है. मगर मुख्यमंत्री फडणवीस ने विपक्ष को चेतावनी दी है की वह इस मुद्दे पर राजनीती न करे. मगर ओबीसी समुदाय में डर है कि सर्कार के इस निर्णय से उनका आरक्षण कम हो जाएगा. शरद पवार ने कहा कि सरकार समाज में झगड़ा फैलाना चाहती है और लोगों को आपस में बांटना चाहती है.

अधिसूचना वापस लेने की मांग
कुछ हफ्ते पहले, राज्य सरकार ने मराठा आंदोलनकारियों के विरोध को शांत करने के लिए यह अधिसूचना जारी की थी. मराठा आरक्षण के लिए आंदोलन कर रहे कार्यकर्ता मनोज जरांगे की मांग थी कि मराठों को ओबीसी श्रेणी में शामिल किया जाए. इसके बाद कई ओबीसी, आदिवासी और बंजारा संगठन सरकार से अधिसूचना वापस लेने की मांग कर रहे हैं. उनका कहना है कि इससे एससी, एसटी और ओबीसी वर्गों का नुकसान होगा.

10 अक्टूबर को नागपुर में बड़ी रैली करने का फैसला
ओबीसी नेताओं ने कहा कि अगर मराठों को भी आरक्षण दिया गया तो पहले से लाभ उठा रहे 374 जातियों का नुकसान होगा. उन्होंने 10 अक्टूबर को नागपुर में बड़ी रैली करने का फैसला किया है.

बंजारा संगठन भी करेगा प्रदर्शन
बंजारा संगठन के नेता सन्देश चव्हाण ने कहा, हमें पहले भी आरक्षण मिलता था, अब हम फिर वही अधिकार चाहते हैं. चव्हाण ने यह भी बताया कि एक बंजारा युवक ने आत्महत्या कर ली क्योंकि वह आरक्षण न मिलने से परेशान था. इसके अलावा बंजारा युवाओं ने जलना में अनशन शुरू कर दिया है और 15 सितंबर को बड़े प्रदर्शन करने वाले हैं. लेकिन आदिवासी संगठन कह रहे हैं कि बंजारों को पहले से ही 3% आरक्षण मिल रहा है, इसलिए उनकी मांग गलत है

.शरद पवार ने साधा निशाना
मराठा आरक्षण को लेकर शरद पवार ने कहा कि सरकार मुद्दों का समाधान नहीं करना चाहती. उन्होंने आरोप लगाया कि यह समाज को तोड़ने की कोशिश है, हमें इसका विरोध करना चाहिए और समाज में एकता बनाए रखनी चाहिए, भले ही इसके लिए राजनीतिक नुकसान उठाना पड़े।

सीएम फडणवीस ने विपक्ष पर लगाया आरोप
फडणवीस ने कहा कि यह आदेश ओबीसी के अधिकारों को नुकसान नहीं पहुंचाएगा. सिर्फ उन्हीं लोगों को लाभ मिलेगा जिनके पास सही दस्तावेज होंगे. कोई फर्जी तरीके से लाभ नहीं ले पाएगा. उन्होंने विपक्ष पर भी आरोप लगाए कि वे सिर्फ राजनीति कर रहे हैं. हम ओबीसी, मराठा और सभी समुदायों के लिए काम कर रहे हैं. फडणवीस ने डर और भ्रम खत्म होने के लियर लोहो तक सही जानकर पहुंचाने पर जोर दिया. जो लोग कुनबी प्रमाणपत्र पाने के योग्य होंगे, उन्हें ही यह लाभ मिलेगा. बिना रिकॉर्ड के किसी को लाभ नहीं मिलेगा. इसलिए ओबीसी छात्रों को चिंता करने की जरूरत नहीं है.

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