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इंडिगो मामले पर सख्त हुई सरकार, सीईओ को हटाए जाने की तैयारी, एयरलाइंस पर पेनल्टी भी लगाई जाएगी

इंडिगो मामले पर सख्त हुई सरकार, सीईओ को हटाए जाने की तैयारी, एयरलाइंस पर पेनल्टी भी लगाई जाएगी

इंडिगो में हालिया अव्यवस्था पर केंद्र सरकार सीईओ पीटर एल्बर्स को हटाने और एयरलाइन पर भारी जुर्माना लगाने पर गंभीरता से विचार कर रही है. विमानों के परिचालन संबंधी नए नियम लागू होने के बाद से ही इंडिगो की उड़ानों में देरी और कैंसिलेशन में बहुत तेजी से वृद्धि हुई है. टिकटों की कीमत 1-1 लाख रुपये तक पहुंच गई है. इसके बावजूद लोगों को एयरपोर्ट पर फ्लाइट के लिए घंटों इंतजार करना पड़ रहा है.

नई दिल्ली. देश की सबसे बड़ी एयरलाइन इंडिगो पिछले 3 दिनों से कड़ी आलोचना के घेरे में है जबरदस्त कैंसिलेशन, घंटों की देरी और देशभर के एयरपोर्ट्स पर अफरा तफरी ने एविएशन सिस्टम हिला दिया है. अब सरकार इस पूरे संकट को बेहद गंभीर मान रही है और पहले से ही नाराज यात्रियों का गुस्सा बढ़ता जा रहा है.सरकारी सूत्रों के मुताबिक केंद्र सरकार इंडिगो सीईओ पीटर एल्बर्स को हटाने की सिफारिश करने पर गंभीरता से विचार कर रही है. ऊपर से एयरलाइन पर भारी पेनल्टी की तैयारी है जिसे इंडस्ट्री में अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई माना जा सकता है.

फ्लाइट कटौती पर भी बड़ा फैसला
सूत्रों के अनुसार सरकार एयरलाइन के ऑपरेशंस में सीधी कटौती करने जा रही है. इंडिगो की कई रूट्स पर फ्लाइट अलॉटमेंट कम कर दिए जाएंगे. एयरलाइन को केवल उतनी ही उड़ानें चलाने की अनुमति दी जाएगी जिनमें वह पूरा क्रू उपलब्ध करा सके. इस बीच आरोप यह भी है कि इंडिगो पिछले कई महीनों से जरूरत से ज्यादा भरा हुआ शेड्यूल चला रही थी. सरकार का मानना है कि ओवरस्ट्रेस्ड ऑपरेशंस ने ही इस बड़े ऑपरेशनल मेल्टडाउन को जन्म दिया जिसके कारण हजारों यात्रियों को तकलीफ उठानी पड़ी.

इंडिगो अधिकारियों को फिर बुलाया गया
हालात इतने बिगड़ चुके हैं कि एयरलाइन के टॉप अधिकारी आज फिर से नागरिक उड्डयन मंत्रालय में तलब किए गए हैं. शाम 6 बजे एक और जरूरी मीटिंग होगी जिसमें मंत्रालय यह जानना चाहता है कि एयरलाइन ने हालात काबू में लाने के लिए अब तक क्या कदम उठाए हैं. अधिकारियों ने साफ संकेत दिया है कि अगर इंडिगो तुरंत सुधार नहीं दिखाती तो आगे की कार्रवाई और कड़ी होगी.

यात्रियों को मिलेगा कैंसिल फ्लाइट के टिकट का रिफंड, सरकार का इंडिगो को आदेश

6 दिसंबर को इंडिगो की उड़ानें रद्द होने से हजारों यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ा. इस बीच विमानन मंत्रालय ने इंडिगो को निर्देश दिया कि रद्द की गई उड़ानों के लिए टिकट के रिफंड की प्रक्रिया शाम तक पूरी कर ली जाए. यानी 7 दिसंबर तक आपको टिकट के पैसे वापस मिल जाएंगे.

7 दिसंबर की रात तक मिलेगा रिफंड
सिविल एविएशन मिनिस्ट्री ने इंडिगो से कहा है कि वह रविवार रात 8 बजे तक फ्लाइट्स में रुकावट से प्रभावित यात्रियों के लिए टिकट रिफंड प्रोसेस पूरा करे. साथ ही कहा कि एयरलाइन यह पक्का करे कि फ्लाइट कैंसिल होने की वजह से यात्रियों से अलग किया गया सारा सामान अगले 48 घंटों के अंदर डिलीवर हो जाए.

इंडिगो को यह भी निर्देश दिया गया कि वह यात्रियों के लिए विशेष सहायता और रिफंड सुविधा केंद्र बनाए. जब तक परिचालन पूरी तरह से स्थिर नहीं हो जाता, स्वचालित रिफंड की प्रोसेस चालू रहेगी.

इसके अलावा, मंत्रालय ने कहा कि एयरलाइन यह सुनिश्चित करे कि उड़ान रद्द होने या देरी की वजह से यात्रियों के छूटे हुए सामान का पता लगाया जाए और अगले 48 घंटों के भीतर उन तक पहुंचाया जाए.

एविएशन मिनिस्ट्री ने दी जानकारी
इंडिगो मामले में एविएशन मिनिस्ट्री ने पीएम मोदी को जानकारी दी है. दरअसल मंत्रालय की तरफ से पिछले दो दिनों से लगातार मीटिंग की जा रही हैं. सरकार एयरलाइन पर भारी जुर्माना लगाने की तैयारी में है.

सरकार के नए नियमों से गड़बड़ हुई
केंद्र सरकार के नए पायलट ड्यूटी नियम (FDTL Phase-2) लागू हो गए और इंडिगो इसके लिए बिल्कुल तैयार नहीं थी. पायलट यूनियन ने जनवरी 2024 में दिल्ली हाईकोर्ट में एक याचिका दायर की. इसमें पायलट के ज्यादा काम के घंटे और थकान से फ्लाइट सेफ्टी का मुद्दा उठाया. हाईकोर्ट के आदेश के बाद नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (DGCA) ने फ्लाइट ड्यूटी टाइम लिमिटेशन यानी FDTL नियमों में बदलाव किए. यह नियम दो हिस्सों में लागू होने थे.

1 जुलाई 2025 को पायलट्स को आराम देने के लिए फ्लाइट ड्यूटी टाइम लिमिटेशन (FDTL) के नियम लागू किए गए थे. इसके तहत एयरलाइन कंपनियों के लिए पायलटों को हफ्ते में 36 घंटे के बजाय 48 घंटे आराम, यानी दो दिनों का वीकली रेस्ट देना अनिवार्य कर दिया. इस दौरान किसी छुट्टी को वीकली रेस्ट गिनने पर रोक लगा दी थी. मकसद बहुत अच्छा था कि पायलट जितना कम थकेगा, उड़ान उतनी ही सुरक्षित रहेगी. लेकिन इन नियमों ने पायलटों की उपलब्धता ही 15-20% कम कर दी.

FDTL के दूसरे फेज में 1 नवंबर से DGCA) ने पायलटों और अन्य क्रू मेंबर्स के लगातार नाइट शिफ्ट पर भी पाबंदी लगा दी थी.

पहले हफ्ते में 36 घंटे रेस्ट मिलता था, अब 48 घंटे अनिवार्य है. यानी हर पायलट हफ्ते में करीब एक दिन कम उड़ सकता है.
रात की ड्यूटी पहले 12 बजे से सुबह 5 बजे तक मानी जाती थी, अब सुबह 6 बजे तक. यानी पूरा एक घंटा और बढ़ गया.
एक हफ्ते में पायलट सिर्फ 2 नाइट लैंडिंग ही कर सकता है, पहले 6 तक की छूट थी.
लगातार दो रात से ज्यादा नाइट ड्यूटी नहीं की जा सकती.
सबसे खतरनाक नियम कि अगर फ्लाइट रात 12 बजे के बाद भी 1 मिनट चल गई, तो पूरी ड्यूटी नाइट ड्यूटी मान ली जाती थी और पायलट अगले दिन सुबह की 1-2 फ्लाइट्स नहीं उड़ा पाता था.
इसका मतलब एक ही था कि एक पायलट पहले जितनी उड़ानें उड़ा सकता था, अब उतनी नहीं उड़ा पाता है.

आज 400 से ज्यादा फ्लाइट्स रद्द
5 दिसंबर को देश की सबसे बड़ी एयरलाइन इंडिगो की 1,000 से ज्यादा उड़ानें रद्द हुई थीं और 6 दिसंबर को यही स्थिति बनी रही. शनिवार को देश के 4 बड़े एयरपोर्ट दिल्ली, मुंबई, चेन्नई और बेंगलुरु समेत कई शहरों के एयरपोर्ट्स पर 400 से ज्यादा उड़ानें रद्द हुई हैं. मंत्रालय ने कहा कि रिफंड प्रक्रिया में किसी भी देरी या गैर-अनुपालन पर तत्काल नियामक कार्रवाई की जाएगी. पिछले 4 दिन में 2,000 से ज्यादा फ्लाइट कैंसिल हो चुकी हैं. रोजाना एवरेज 500 फ्लाइट लेट हो रही हैं.

PMO को भी भेजी जाएगी विस्तृत रिपोर्ट
सूत्रों का कहना है कि नागरिक उड्डयन मंत्रालय इस पूरे संकट पर प्रधानमंत्री कार्यालय को अलग से ब्रीफ करने की तैयारी कर चुका है. संकेत साफ हैं कि केंद्र सरकार इस बार मामले को हल्के में नहीं लेने वाली है. यात्रियों की शिकायतें लगातार बढ़ रही हैं और डीजीसीए पर कड़ा दबाव है कि वह तुरंत कार्रवाई करे. ऐसे में माना जा रहा है कि एयरलाइन के खिलाफ और भी कड़े कदम जल्द देखने को मिल सकते हैं.

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