राजस्थान के जालोर जिले में एक टीचर की हैवानियत के बाद देशभर की जनता सकते में है. घटना के मुताबिक जिले में एक छात्र की मौत का सनसनीखेज मामला सामने आया है जहां एक स्कूल टीचर पर आरोप लगा है कि उसने 9 साल के एक दलित बच्चे को मटके से पानी पीने पर जमकर पिटाई कर दी, जिसके बाद 13 अगस्त को उसकी मौत हो गई. घटना के बाद दलित समाज के लोगों में काफी आक्रोश है और जालोर में तनाव के हालात को देखते हुए इलाके में 24 घंटे के लिए इंटरनेट बंद किया गया है. पुलिस ने लोगों पर पुलिस ने मासूम इंद्र मेघवाल के पूरे परिवार की घेराबंदी कर ली है. लोगों पर लाठीचार्ज भी किया गया.
वहीं घटना के बाद मासूम बच्चे की जान लेने वाले हैवान टीचर छैल सिंह को गिरफ्तार कर लिया गया है जहां पुलिस ने एससी-एसटी एक्ट और धारा 302 में मामला दर्ज किया गया है. दलित छात्र इंद्र कुमार की मौत पर राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से लेकर विपक्ष और केंद्र के कई नेताओं ने गहरा दुख जताया है. इसके साथ ही राजस्थान सरकार ने मृतक के परिजनों को 5 लाख रुपये की आर्थिक सहायता राशि मुख्यमंत्री सहायता कोष से देने का ऐलान किया है.
वहीं पुलिस की ओर से मामले के त्वरित अनुसंधान और दोषी को जल्द सजा देने के लिए केस ऑफिसर स्कीम के तहत चलाने का फैसला किया गया है.
घटना के बाद आज़ाद समाज पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष चंद्रशेखर आजाद ने सीएम अशोक गहलोत पर जमकर निशाना साधा है. आजाद ने कहा कि देश आजादी का अमृत महोत्सव मना रहा है और दूसरी तरफ पानी के मटके को छूने पर इतना पीटा गया कि जान ही चली गई. उन्होंने कहा कि आजादी के 75 साल बाद भी 9 साल के दलित बच्चे को जालोर मे जातिवाद का शिकार होना पड़ा, हमे पानी के मटके को छूने की भी आजादी नही! फिर क्यों आजादी का झूठा ढिंढोरा पीट रहे हैं?
वहीं गहलोत सरकार के मृतक छात्र के परिजनों को आर्थिक सहायता देने पर आजाद ने कहा कि राजस्थान के पूरे दलित समाज को बधाई हो, अशोक गहलोत जी ने हमारे 9 साल के भाई की जान की कीमत 5 लाख रुपये लगाई है. आजाद ने कहा कि मुख्यमंत्री चाहते हैं कि 5 लाख रुपये लो और अपने मुंह पर ताला लगा लो, जब भविष्य में किसी जितेंद्र या इन्द्र की हत्या हो तब रोना और चिल्लाना. चंद्रशेखर ने गहलोत सरकार पर न्याय में दोहरे मापदंड अपनाने का भी आरोप लगाया.
समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भी ट्वीट कर लिखा है जहाँ एक बच्चे को पानी पीने तक की आज़ादी नहीं…उस देश में हम अमृत महोत्सव मना रहे हैं…
देश के माथे पर जातिगत भेद-भाव का कलंक
वहीं आप सांसद संजय सिंह ने घटना पर कहा कि भेद-भाव का यह कलंक जब तक इस देश के माथे पर रहेगा ये देश कभी आगे नही बढ़ सकता है. उन्होंने कहा कि मासूम इंद्रकुमार का गुनाह सिर्फ़ इतना था की उसने सवर्ण शिक्षक के मटके से पानी पी लिया, अशोक गहलोत जी आपके राज्य में ऐसी घटनाओं की बाढ़ आ गई है..शर्म करो चुल्लू भर पानी में नाक रगड़ लो
इसके अलावा कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने घटना पर कहा कि सरस्वती विद्या मंदिर में गुरू जी को एक दलित छात्र द्वारा उनके घड़े में से पानी पीने पर इतना ग़ुस्सा आया की उसकी हत्या कर दी
गहलोत राज में सुरक्षित नहीं वंचित वर्ग
वहीं घटना के बाद बीजेपी के राजस्थान प्रमुख सतीश पूनिया ने गहलोत सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि गहलोत के राज में एक वंचित वर्ग का छात्र सुरक्षित नहीं है और जालौर की घटना प्रदेश के माथे पर कलंक है. पूनिया ने मांग की है कि मुख्यमंत्री को पीड़ित परिवार की सहायता कर दोषियों के खिलाफ तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए.
वहीं बीजेपी सांसद किरोड़ी लाल मीणा ने घटना की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए कहा कि जालौर जिले के सुराणा गांव के एक निजी स्कूल में दलित बच्चे द्वारा मटके से पानी पी लेने पर विकृत मानसिकता के संचालक की मारपीट से बच्चे की इलाज के दौरान मौत हो गई, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत को मामले में तुरंत संज्ञान लेते हुए कार्रवाई करनी चाहिए. मुखिया जी के राज में दलित सुरक्षित नहीं है.